कोरोना वायरस को चीन ने अपने फायदे के लिए दुनिया भर में फैलाया पर अब दुनिया में जो हो रहा है उस से चीन के पतन के संकेत मिलने लगे है और भारत के लिए नया सूरज उगता दिखाई देने लगा है
चाहे कंपनियों के शिफ्ट होने की बात हो या फिर WHO की, हर जगह अब भारत के लिए नयी रौशनी नजर आ रही है, जानकारी ये सामने आई है की अब चीन की जगह WHO के एग्जीक्यूटिव बोर्ड पर भारत का कब्ज़ा होगा और इसके लिए वीटो पॉवर अमेरिका और ऑस्ट्रेलिया ने भारत का समर्थन कर दिया है
मई महीने में WHO के एग्जीक्यूटिव बोर्ड के अध्यक्ष का पद भारत को मिल सकता है, इस पद पर अभी चीन का कब्ज़ा है, इस पद के मिलने पर WHO के काम काज में भारत का दखल सबसे ऊपर हो जायेगा, WHO की नीतियों के निर्माण में भी भारत का दखल होगा और WHO भारत की स्वीकृति के बाद ही कार्य करेगा
अमेरिका और ऑस्ट्रेलिया ने WHO के कामकाज में ट्रांसपेरेंसी की मांग की है और चीन की गतिविधियों को संदिग्ध बताया है, इसी कारण दोनों ने अब एग्जीक्यूटिव बोर्ड के अध्यक्ष पद के लिए भारत का समर्थन कर दिया है
Big blow to China, India to become the chairperson of the World Health Organisation 'WHO' Executive Board next monthhttps://t.co/KkjN7ydFO5— Nandagopal.K.M. (@nandaji1958) April 26, 2020
डोनाल्ड ट्रम्प पहले ही वर्तमान WHO के कामकाज पर सवाल उठा चुके है और उसे चीन की PR एजेंसी भी घोषित कर चुके है, जानकारी के मुताबिक 22 मई WHO की बैठक होगी, ये बैठक विडियो कॉन्फ़्रेंसिंग के जरिये होगी और इस बैठक में अमेरिका और ऑस्ट्रेलिया भारत के नाम का प्रस्ताव रखेंगे जिसका समर्थन जापान और अमेरिका के सहयोगी देश करेंगे, इसके बाद भारत को अध्यक्ष पद मिल जायेगा
अध्यक्ष पद मिलने के बाद WHO में चीन की जगह भारत के मुताबिक काम होगा और दुनिया को भारत से उम्मीद है की भारत अध्यक्ष पद पर पूरी पारदर्शिता से काम करेगा